रार : सुमेधानंद की गाड़ी पर पथराव लोगों ने दिखाए काले झंडे
टिकट वितरण के बाद दिल्ली से वाया जयपुर होकर सीकर लौट रहे सुमेधानंद सरस्वती गौरियां से सीधे पिपराली के लिए निकल गए। उन्हें यह भनक लग चुकी थी कि आगे काले झंडे दिखाए जाएंगे। बाजौर-पिपराली के रास्ते पहुंचते ही उनके पीछे लगी कुछ गाडिय़ों में सवार युवकों ने उन पर पथराव शुरू कर दिया। गाड़ी के शीशे टूट गए। उन्हें काले झंडे भी दिखाए। महाराज ने भी जैसे-तैसे अपना बचाव किया। पिपराली के ग्रामीणों को इसकी सूचना मिली तो वे भी मौके पर पहुंच गए। दोनों तरफ से पथराव शुरू हुआ। इसमें कुछ लोगों चोटें भी लगी।
इसके बाद महाराज पिपराली पहुंचे और निर्धारित कार्यक्रम में शिरकत की। उन्होंने कहा, बाबा रामदेव ने हाई कमान से बात की है। विरोध करने वालों में हिम्मत है तो वे राजनाथ सिंह व वसुंधरा राजे पर पथराव करे। मुझे टिकट दिया है तो मेरी क्या गलती है। जिस वक्त सुभाष महरिया व हरिराम रणवां राजनीति की एबीसीडी नहीं जानते थे तब पूर्व उप राष्ट्रपति भैरों सिंह शेखावत मेरे आश्रम में आते थे।
मैदान नहीं छोड़ूंगा, चाहे गोली चल जाए
अनुशासनहीनता करने वालों व बागियों की शिकायत हाइकमान से करेंगे : भाजपा प्रत्याशी सुमेधानंद सरस्वती ने गुरुवार शाम प्रेस कांफ्रेंस कर कहा कि अब तक जो हुआ है उसे वे पार्टी के लिए बड़ा मसला नहीं मानते हैं। अब अगर कोई अनुशासनहीनता करेगा या बागी खड़ा होगा तो वे इसकी शिकायत हाइकमान से करेंगे।
उन्होंने कहा कि बागियों को मनाना पार्टी के पदाधिकारियों का काम है। अपनी जाति को लेकर फैलाई जा रही अफवाहों पर बोलते हुए कहा कि साधु संन्यासी की कोई जाति नहीं होती है। मैं आर्य समाजी हूं। इसके बाद उन्होंने खुद के जाट होने का प्रमाण पत्र पेश किया। यह प्रमाण पत्र एक दिन पहले ही बना हुआ था। इसके बारे में उन्होंने कहा कि गांव के सरपंच से मंगवाया है। यह भी कहा कि लोग कह रहे हैं कि संतों का राजनीति से क्या लेना देना। मैं स्वामी दयानंद सरस्वती व श्रद्धानंद के पंथ से हूं जिन्होंने स्वराज की मांग की थी और रोलेट एक्ट का विरोध किया था। भाजपा की सदस्यता मैंने 1987 में गंगानगर में भैरोंसिंह शेखावत के साथ ली थी। उन्होंने यह भी कहा कि टिकट दिलाने में बाबा रामदेव का कोई हस्तक्षेप नहीं हैं मुझे मेरी साफ छवि के कारण टिकट मिला है। उनके साथ प्रेस कांफ्रेंस में अभिभाषक संघ के अध्यक्ष नरेंद्र सिंह गोठड़ा, जाट महासभा के ताराचंद भामू व अखिल भारतीय जाट महासभा के विजेंद्र बिजारणियां भी मौजूद रहे।
पुलिस ने बढ़ाई सुरक्षा : सुमेधानंद सरस्वती के काफिले पर हमले के बाद पुलिस ने उनकी सुरक्षा बढ़ा दी है। उन्हें एक गनमैन दिया गया है। दादिया एसएचओ मदन कड़वासरा के नेतृत्व में उनके आश्रम में जाब्ता तैनात किया गया है। प्रेस कांफ्रेंस के दौरान सीकर में भी होटल के बाहर तीन थानों की पुलिस तैनात रही।