रींगस. पचास हजार रूपए की रिश्वत के आरोप में गिरफ्तार पुलिस उपअधीक्षक नाथूराम मेहरानियां व दलाल मनोज अग्रवाल पुत्र महावीर प्रसाद अग्रवाल निवासी आभावास को एसीबी ने शुक्रवार को एसीबी न्यायालय जयपुर में पेश किया। जहां पर दोनों को जेल भेजने के आदेश किए गए। जिस पर दोनों को जेल भेज दिया गया।
एसीबी जयपुर प्रथम के एएसपी शंकर दत्त शर्मा व डीएसपी सुरेंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि डीएसपी नाथूराम महरानियां व दलाल मनोज अग्रवाल को 50 हजार रूपए की रिश्वत के साथ गिरफ्तार करके न्यायालय के आदेश से जेल भेजा गया है। साथ ही दोनों से हुई पूछतांछ के बाद रिपोर्ट तैयार की गई है। रिपोर्ट के आधार पर नाथूराम के मकान आदि की तलाशी ली जाएगी। साथ ही रींगस सरकारी निवास को सीज किया है, इसकी तलाशी के लिए परिजनों को साथ लाकर कार्यवाही की जाएगी।
गौरतलब है कि नारायण सिंह बुरडक निवासी अलोदा के खिलाफ एक महिला ने रैप का मुकदमा दर्ज करवाया था। जिसकी जांच डीएसपी नाथूराम कर रहे थे, जांच में नारायण सिंह को बरी करने के लिए नाथूराम ने दलाल मनोज अग्रवाल के जरिए 2 लाख रूपए की मांग की। एक लाख में सौदा तय हुआ, और दोनों को नाथूराम के सरकारी निवास से रिश्वत के 50 हजार रूपए नगद रूपयों के साथ गिरफ्तार किया गया।
दिनभर लगा रहा डीएसपी निवास पर पहरा
रींगस. डीएसपी नाथूराम महरानियां के सरकारी निवासी को एसीबी ने कार्यवाही के बाद ताला व सील लगाकर सीज किया था। टीम के जाने के बाद थाना पुलिस ने दो पुलिसकर्मी तैनात कर पहरा प्रारंभ कर दिया। पुलिसकर्मी 24 घंटे पहरा दे रहे है।
दोपहर ढाई बजे मिली महरानियां को छुट्टी
रींगस. एसीबी की कार्यवाही के दौरान डीएसपी नाथूराम महरानियां की तबीयत खराब हो गई, और वह चक्कर खाकर गिए गए। जिस पर रींगस सीएचसी प्रभारी डा. दिनेश गौड़ को सरकारी निवास पर बुलाकर ईलाज प्रारंभ करवा गया। टीम ने देखा की डीएसपी नाटक कर रहे है, इस पर उनकी बीपी चैक करवाई तो 210 व 110 पाई गई। जिस पर उनको गंभीर हालत में जयपुर रैफर किया गया। एसएमएम जयपुर में उनक ईलाज चला। शुक्रवार को दोपहर करीब 2 बजकर 30 मिनट पर महरानिया को छुट्टी दी गई। इसके बाद पुलिस ने न्यायालय में पेश किया।